GST पर पहली बार करना पड़ा ऐसा काम ,आम सहमति की टूटी परंपरा


नई दिल्ली (स्वतंत्र प्रयाग) : जीएसटी से जुड़ी बड़ी खबर सामने आई है। देश भर में एक तरह का वस्तु एवं सेवा कर (GST) लगने के बाद काफी ताकतवर जीएसटी कौंसिल को पहली बार आम सहमति की परंपरा तोड़कर किसी फैसले के लिए वोटिंग करानी पड़ी है खास बात यह है कि इस कौंसिल की प्रमुख केंद्रीय वित्त मंत्री हैं।जीएसटी कौंसिल में पहली बार हुई वोटिंग 


दरअसल, बुधवार को हुई जीएसटी कौंसिल की 38वीं बैठक में यह निर्णय लिया गया है। निर्णय में यह बात सामने आई है कि पूरे देश में लॉटरी पर एक समान टैक्स लगाया जाए, लेकिन इसके लिए आम सहमति नहीं बन पाई और वोटिंग करानी पड़ी।काफी लंबे समय के बाद पहली बार जीएसटी कौंसिल इस पर विचार के लिए बैठी थी कि देश भर में लॉटरियों के लिए एकसमान टैक्स हो।


इस बैठक में यह तय हुआ है कि लॉटरियों पर देशभर में 28 फीसदी का एकसमान जीएसटी लगाया जाए। यह निर्णय 1 मार्च, 2020 से प्रभावी होगा।GST काउंसिल मीटिंग में हुए ये बड़े फैसले, जानें आप पर क्या होगा असर? सूत्रों के हवाले से खबर है कि, केरल के वित्त मंत्री थॉमस इस्साक इस प्रस्ताव से सहमत नहीं थे और उन्होंने वोटिंग कराने की मांग की। इसके बाद प्रस्ताव पर वोटिंग हुई और इसके पक्ष में 21 तथा विरोध में 7 वोट पड़े।हालांकि विपक्ष शासित कई राज्यों ने भी केरल के वित्त मंत्री का समर्थन नहीं किया और उन्होंने प्रस्ताव के पक्ष में वोट दिया।


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